हम लोग शेयर मार्केट या स्टॉक मार्किट में अक्सर पैसा लगाने से डरते हैं । आम धारणा है कि किसी भी रकम को स्टॉक या इक्विटी में निवेश करने पर जोखिम जुड़ा होता है। ऐसा रास्ता भी है जिसमें आप बिना पूंजी नुकसान के किसी डर के इक्विटी में आसानी से निवेश कर सकते हैं । आइये जानते हैं कि स्टॉक मार्केट में इन्वेस्ट कैसे करें ? और ये भी कि दो हिस्सों में पैसा लगाकर जोखिम कम करें ।
स्टॉक मार्किट में कैसे निवेश करें ?
आने वाले महीने शेयर बाजार के लिए बेहद महत्वपूर्ण हैं या नहीं ? बोनस या किसी जमा पूंजी को स्टॉक या इक्विटी म्यूचुअल फंड में निवेश करने के लिए यह समय उपयुक्त रहेगा या नहीं ? बोनस को स्टॉक या इक्विटी में निवेश करने पर रिस्क का खतरा जुड़ा होता है ? ये सब सवाल हम लोगों के मन में शेयर मार्केट में निवेश करने से पहले हमारे मन में गूंजते रहते हैं । इस सालों से बचने के लिए एक तरीका है जिसमें आप अपने बोनस को इक्विटी में आसानी से निवेश कर सकते हैं और वो भी बिना किसी पूंजी नुकसान के, बिना किसी डर के । इसके लिए आप अपनी सारी पूंजी को फिक्स्ड इनकम स्कीम में निवेश करें और इससे प्राप्त होने वाले रिटर्न को इक्विटी में निवेश करें। इस तरह से आपकी पूरी पूंजी सुरक्षित रहेगी, इसके अलावा यदि इक्विटी के दूसरे फायदे हों तो आप उन्हें भी उठा सकते हैं।
स्टॉक या इक्विटी ?
हालांकि कुछ निवेशक छोटी राशि को 6 वर्ष के इस पूरे अंतराल के लिए निवेशित करने के प्रति ज्यादा उत्साहित नहीं होते। इसके लिए भी एक तरीका है। मान लीजिए आपके पास कुल जमा राशि है और आप उसे निवेशित करना चाहते हैं। अच्छा हो कि उसमें रिस्क कम से कम हो। और ऐसा भी संभव है। इसे एक उदाहरण से समझते हैं। मान लीजिए कि आपको 6 लाख का बोनस प्राप्त हुआ है। आप इस पैसे को कम से कम या बिना पूंजी जोखिम के मुख्य रूप से इक्विटी में निवेश करना चाहते हैं। निवेश में अगर पूंजी खोने का जोखिम न हो तो इससे अधिक अच्छा कुछ और हो ही नहीं सकता। इसके लिए एक ऐसी योजना तैयार करते हैं जिससे कुल जमा राशि बिना जोखिम के इक्विटी में निवेश की जा सके।
आपके पास जो 6 लाख रुपए की से करीबन 3,78,000 रुपए नेशनल सेविंग्स सर्टिफिकेट (NSC) योजना में 8 प्रतिशत प्रतिवर्ष की ब्याज दर के साथ निवेश करें। निवेश किए गए यह 3,78,000 रुपए 6 साल के समय (NSC की अवधि) में 6,00,000 रुपयों में बदल जाएंगे। यह पैसा निवेश करने के बाद आपके पास शेष पूंजी होगी 2,22,000 रुपए (6,00,000 रुपए-3,78,000 रुपए)। इस शेष राशि को इक्विटी म्यूचुअल फंड में निवेशित कीजिए। अब म्यूचुअल फंड में निवेश किए गए पैसे की चिंता छोड़ दीजिए क्योंकि 6 वर्षों के अंत में NSC में निवेश की गई पूंजी से आपको 6,00,000 रुपए प्राप्त होंगे।
यह वही रकम होगी जिससे आपने शुरुआत की थी। इक्विटी में निवेशित 2,22,000 रुपए की बाजारी कीमत अतिरिक्त लाभ के रूप में आपको प्राप्त होगी। इसे सरलता से समझाने के लिए लिए हमने कर का जिक्र नहीं किया है । साथ ही अमूमन ऐसा समझा जाता है कि NSC ब्याज का पुनः निवेश ही किया जाएगा इसलिए सिवाय आखिरी वर्ष के उस पर कर नहीं लगता है । यह लेख कर के बारे में नहीं है इसलिए यह कहना पर्याप्त होगा कि आप NSC में फिक्स्ड इनकम निवेश में 8 प्रतिशत प्रतिवर्ष की दर से लाभ प्राप्त करेंगे।
यह योजना किस प्रकार काम करेगी, इसे इस उदाहरण से समझते हैं। मान लीजिए आपने अपना NSC खाता सितंबर 2020 में खोला था । शेष राशि, कुल राशि के आधार पर रिलायंस ग्रोथ फंड में निवेशित की गई। सितंबर 2020 में रिलायंस ग्रोथ में निवेशित किए गए 2,22,000 रुपए 6 वर्ष की अवधि में 19,50,000 रुपए में परिवर्तित हो जाएंगे। उन पर कोई कर भी नहीं लगेगा। इस राशि को 6,00,000 रुपए की NSC पूंजी में जोड़ लीजिए। इस प्रकार पूरे निवेश में प्राप्ति होगी, कुल 25 लाख रुपए कि धनराशि । इसमें पूंजी की गारंटी के साथ-साथ पूंजी का सदुपयोग होगा ।
अब एक क्षण के लिए यह कल्पना मत कीजिए कि हम यह अंतर्निहित कर के कि भविष्य में भी इस तरह के लाभ की पुनरावृत्ति होगी। ऐसा संभव है भी हालांकि आप इस बात से सहमत होंगे कि भविष्य के आकलन के लिए अभी से बेहतर कोई रास्ता नहीं। कहने का सार यही है कि ऊपर बताया गया तरीका इस बात को सुनिश्चित करता है कि इक्विटी निवेश का परिणाम चाहे जो हो, इससे आपकी पूंजी को कोई फर्क नहीं पड़ता है । जितनी पूंजी से आपने शुरुआत की थी, वह सुरक्षित रहती है। ( स्टॉक मार्केट में इन्वेस्ट कैसे करें ?)
कैपिटल गारंटी स्कीम
कई नई कैपिटल गारंटी स्कीम जो हाल में ही लांच की गई हैं, में इसी तय प्रक्रिया का इस्तेमाल करती हैं । फिर भी यह ध्यान रखें कि कोई भी फंड हाउस पूंजी के सुरक्षित रहने की गारंटी नहीं देता। इसके बजाय क्रेडिट रेटिंग एजेंसी इस तरह की स्कीमों का रेटिंग निश्चित करती है, जो निवेश की प्रत्यक्ष कीमत के समय पर पुनर्भुगतान की अच्छे स्तर की सुनिश्चितता दर्शाती है। ऊपर बताई गई योजना की संरचना, निवेशक द्वारा अपनाए जाने पर अनिवार्य रूप से उसकी पूंजी को सुरक्षित रखेंगी। जहां तक सुनिश्चितता की बात है उसका कोई स्तर निर्धारित नहीं है, बस यही बात निश्चित है। यह उतना ही सुनिश्चित है जितना कि NSC निवेश। यह कोई आश्चर्य नहीं है जब ऐसा कहा जाता है कि एक स्थायी नौकरी और म्यूचुअल फंड सामाजिक सुरक्षा के लिए आज भी सबसे सुरक्षित है।
नोट- ब्याज दरें व् रकम उद्धरण मात्र हैं, ब्याज दर अलग अलग हो सकती है।
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